जयपुर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि अंगदान से बड़ा पुनीत कार्य कोई नहीं है। वर्तमान समय में आवश्यकता के मुकाबले बहुत कम संख्या में अंगदान हो रहा है। इसलिए समाज को अंगदान के लिए आगे बढक़र संकल्प लेना चाहिए।
गहलोत गुरूवार को मुख्यमंत्री निवास पर अंगदान महाअभियान के शुभारंभ समारोह को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कार्यक्रम में अंगदान महाअभियान पखवाड़े का शुभारंभ कर इसके पोस्टर का विमोचन किया। उन्होंने कहा कि आमजन में बिना संकोच के अंगदान की भावना विकसित करने के लिए यह मुहिम शुरू की गई है। अंगदान के लिए सकारात्मक माहौल बनने से लोगों की कीमती जिंदगियां बचाई जा सकेंगी। उन्होंने कहा कि प्रदेश में चिरंजीवी योजना के तहत अंग प्रत्यारोपण जैसे महंगे इलाज को भी नि:शुल्क कर दिया गया है। राज्य के बाहर जाकर अंग प्रत्यारोपण कराने वाले प्रदेशवासी भी इसका लाभ उठा रहे हैं।
इस दौरान मुख्यमंत्री ने उपस्थित लोगों को अंगदान करने का संकल्प दिलाया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने 771 करोड़ रुपए की लागत के 249 कार्यों का शिलान्यास व लोकार्पण किया। साथ ही, मुख्यमंत्री ने दस चिरंजीवी 104 जननी एक्सप्रेस एम्बुलेंस एवं 25 मोबाईल फूड टेस्टिंग लैब को हरी झण्डी दिखाकर रवाना किया। उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य राज्य सरकार की मुख्य प्राथमिकताओं मे है। प्रदेश में लगातार नए जिला अस्पताल, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, उप स्वास्थ्य केन्द्र खोलकर स्वास्थ्य ढांचे को सुदृढ़ किया गया है। स्वास्थ्य का अधिकार कानून लागू करने वाला राजस्थान देश का एकमात्र राज्य है। उन्होंने कहा कि राज्य में 30 जिलों में मेडिकल कॉलेज खोले जा रहे हैं। शेष तीन जिलों में सरकार ने स्वयं के खर्चे पर मेडिकल कॉलेज खोलने का फैसला किया है। सभी जिलों में मेडिकल कॉलेज स्वीकृत करने वाला राजस्थान देश का पहला राज्य है।
8 लाख से कम आय वाले सभी वर्गों को नहीं देना पड़ेगा चिरंजीवी योजना का प्रीमियम
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने इस अवसर पर मुख्यमंत्री चिरंजीवी स्वास्थ्य बीमा योजना के अन्तर्गत नि:शुल्क पंजीकरण का दायरा बढ़ाकर सभी ई.डब्ल्यू.एस. तक करने की घोषणा की। इसके अनुसार सामान्य, अन्य पिछड़ा वर्ग, अति पिछड़ा वर्ग, अनुसूचित जाति एवं जनजाति सहित सभी वर्गों के 8 लाख से कम आय वाले परिवारों की प्रीमियम राशि का भुगतान राज्य सरकार की ओर से किया जाएगा। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार द्वारा इसके लिए 425 करोड़ रुपए का अतिरिक्त प्रावधान किया गया है।
अंगदाताओं के परिजनों एवं प्रत्यारोपण लाभार्थियों से किया संवाद
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने अंगदाताओं के परिजनों एवं प्रत्यारोपण लाभार्थियों से संवाद किया। शायर मल ने कहा कि उनके 20 वर्षीय पुत्र कौशल कुमार के ब्रेनडेड होने पर परिवार ने उसकी दोनों किडनी एवं लीवर दान करने का निर्णय लिया। जिनको ये अंग प्रत्यारोपित हुए, वे अब स्वस्थ हैं। समाज में अंगदान को लेकर और अधिक जागरूकता लाई जानी चाहिए। मोहनलाल मीणा ने कहा कि उनके पिता ने उन्हें किडऩी दान की। चिरंजीवी योजना के तहत उनका नि:शुल्क अंग प्रत्यारोपण हुआ। उन्होंने कहा कि चिरंजीवी योजना निरंतर चलती रहनी चाहिए, ताकि आमजन को महंगे इलाज से राहत मिलती रहे।
वीसी के माध्यम से जुड़े बीकानेर के पूर्णराम ने बताया कि दुर्घटना में उनके पुत्र आदित्य के ब्रेनडेड होने पर उन्होंने अंगदान का निर्णय लिया। आज उनके दिवंगत बेटे के अंगों से 3 लोगों को जीवन मिला है। इससे वे बहुत अच्छा महसूस करते हैं। उन्होंने कहा कि आने वाले समय में अंग प्रत्यारोपण का यह अभियान आमजन के लिए वरदान साबित होगा। वीसी के माध्यम से अलवर से जुड़ी धौली देवी ने कहा कि चिरंजीवी स्वास्थ्य बीमा के तहत उनका नि:शुल्क हार्ट ट्रांस्प्लांट हुआ। इलाज के बाद वे बिलकुल स्वस्थ हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री को धन्यवाद देते हुए कहा कि चिरंजीवी योजना से लाखों रुपए का इलाज नि:शुल्क हो सका है।
इस अवसर पर गहलोत ने अंगदाताओं के परिजनों तथा अंग प्रत्यारोपण के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने वाले चिकित्सकों को सम्मानित किया। कार्यक्रम में स्वास्थ्य के क्षेत्र में मॉडल स्टेट राजस्थान की थीम पर आधारित लघु फिल्म का प्रदर्शन किया गया।
इस अवसर पर चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री परसादी लाल मीणा ने कहा कि प्रदेश में चिरंजीवी स्वास्थ्य बीमा योजना के तहत 88 प्रतिशत परिवारों को कवर किया जा चुका है। 1.38 करोड़ परिवारों का बीमा प्रीमियम राज्य सरकार द्वारा भरा जा रहा है। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की अतिरिक्त मुख्य सचिव शुभ्रा सिंह ने कहा कि राज्य का चिकित्सा ढ़ांचा सुदृढ़ होने से मुख्यमंत्री की निरोगी राजस्थान की संकल्पना साकार हो रही है। राजस्थान लघु उद्योग विकास निगम के अध्यक्ष राजीव अरोड़ा ने कहा कि राज्य सरकार अपनी नीतियों से अंगदान को लगातार प्रोत्साहित कर रही है।
इस अवसर पर कृषि मंत्री लालचंद कटारिया, जलदाय मंत्री महेश जोशी, खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास, विधायक गंगा देवी, रफीक खान, गोपाल मीणा, लक्ष्मण मीणा, महापौर जयपुर हेरिटेज मुनेश गुर्जर, आरयूएचएस के कुलपति डॉ. सुधीर भंडारी, प्रमुख शासन सचिव चिकित्सा शिक्षा टी. रविकांत सहित बड़ी संख्या में चिकित्सक, जनप्रतिनिधि, अंगदाताओं के परिजन वर्चुअल एवं अन्य माध्यम से उपस्थित थे।
550.90 करोड़ रुपए के कुल 101 विकास कार्यों का हुआ शिलान्यास:-
- बाड़मेर जिले में 15 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि रू. 84.26 करोड़ रुपए
- भरतपुर जिले 8 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि रू. 10.04 करोड़ रुपए
- बूंदी जिले में 5 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 12.97 करोड़ रुपए
- चित्तौडग़ढ़ जिले में 07 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 8.59 करोड़ रुपए
- चूरू जिले में 1 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 2.25 करोड़ रुपए
- दौसा जिले में 8 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 86.14 करोड़ रुपए
- धौलपुर जिले में 5 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 6.12 करोड़ रुपए
- हनुमानगढ़ जिले में 1 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 10 करोड़ रुपए
- जयपुर जिले में 2 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 45.33 करोड़ रुपए
- जैसलमेर जिले में 3 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 44.61 करोड़ रुपए
- जालौर जिले में 1 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 16.63 करोड़ रुपए
- झुंझुंनू जिले में 1 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 2.11 करोड़ रुपए
- जोधपुर जिले में 3 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 40.19 करोड़ रुपए
- करौली जिले में 11 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 25.28 करोड़ रुपए
- कोटा जिले में 3 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 41.50 करोड़ रुपए
- पाली जिले में 2 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 3.68 करोड़ रुपए
- राजसमंद जिले में 1 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 1.43 करोड़ रुपए
- सवाई माधोपुर जिले में 12 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 12.84 करोड़ रुपए
- सीकर जिले में 2 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 91.81 करोड़ रुपए
- सिरोही जिले में 4 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 1.64 करोड़ रुपए
- टोंक जिले में 2 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 1.84 करोड़ रुपए
- उदयपुर जिले में 4 नवीन चिकित्सा भवन निर्माण कार्य, लागत राशि 1.64 करोड़ रुपए
220.09 करोड़ रुपए के कुल 148 कार्यों का हुआ लोकार्पण:- - अजमेर जिले में 2 नवनिर्मित भवन, लागत 10.44 करोड़ रुपए
- अलवर जिले में 3 नवनिर्मित भवन, लागत 8.61 करोड़ रुपए
- बांसवाड़ा जिले में 3 नवनिर्मित भवन, लागत 10.85 करोड़ रुपए
- बांरा जिले में 13 नवनिर्मित भवन, लागत 8.10 करोड़ रुपए
- भरतपुर जिले में 3 नवनिर्मित भवन, लागत 10.16 करोड़ रुपए
- भीलवाड़ा जिले में 4 नवनिर्मित भवन, लागत 10.22 करोड़ रुपए
- बीकानेर जिले में 2 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 9 करोड़ रुपए
- बूंदी जिले में 8 नवनिर्मित भवन लागत राशि 11.43 करोड़ रुपए
- चित्तौडग़ढ़ जिले में 1 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 2 करोड़ रुपए
- चूरू जिले में 2 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 3.85 करोड़ रुपए
- दौसा जिले में 2 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 4.10 करोड़ रुपए
- हनुमानगढ़ जिले में 1 नवनिर्मित भवन, लागत 2 करोड़ रुपए
- जयपुर जिले में 6 नवनिर्मित भवन, लागत 12.96 करोड़ रुपए
- झुंझुंनू जिले में 5 नवनिर्मित भवन, लागत 12.91 करोड़ रुपए
- जोधपुर जिले में 4 नवनिर्मित भवन, लागत 3.08 करोड़ रुपए
- करौली जिले में 2 नवनिर्मित भवन, लागत 4.22 करोड़ रुपए
- कोटा जिले में 1 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 41 लाख रुपए
- नागौर जिले में 28 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 24.10 करोड़ रुपए
- प्रतापगढ़ जिले में 1 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 1.85 करोड़ रुपए
- राजसमन्द जिले में 12 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 8.91 करोड़ रुपए
- सवाई माधोपुर जिले में 3 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 1.23 करोड़ रुपए
- सीकर जिले में 14 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 40.16 करोड़ रुपए
- श्रीगंगानगर जिले में 1 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 1.19 करोड़ रुपए
- टोंक जिले में 9 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 3.97 करोड़ रुपए
- उदयपुर जिले में 18 नवनिर्मित भवन, लागत राशि 14.34 करोड़ रुपए